परिचय (Introduction)
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (NDMA) भारत की सर्वोच्च वैधानिक संस्था है, जिसे आपदाओं के प्रभाव को कम करने और प्रभावी प्रबंधन सुनिश्चित करने के लिए स्थापित किया गया।
- स्थापना: 2005 में आपदा प्रबंधन अधिनियम, 2005 के तहत।
- मुख्यालय: नई दिल्ली।
- अध्यक्ष: प्रधानमंत्री।
उद्देश्य (Objectives)
- आपदा प्रबंधन की योजना बनाना।
- आपदाओं के लिए तैयारियों को बढ़ावा देना।
- प्रभावी प्रतिक्रिया और पुनर्वास।
- सतत विकास लक्ष्यों (SDGs) के तहत जोखिम कम करना।
कार्य और जिम्मेदारियाँ (Functions and Responsibilities)
- नीति निर्माण (Policy Formulation):
- आपदा प्रबंधन के लिए राष्ट्रीय नीतियों और दिशा-निर्देश तैयार करना।
- समन्वय (Coordination):
- राज्य और केंद्र सरकारों, मंत्रालयों, और एजेंसियों के बीच समन्वय।
- जोखिम मूल्यांकन और शमन (Risk Assessment and Mitigation):
- आपदा संभावित क्षेत्रों की पहचान और शमन योजनाओं का कार्यान्वयन।
- प्रशिक्षण और जागरूकता (Training and Awareness):
- आपदा प्रबंधन के लिए नागरिकों और अधिकारियों को प्रशिक्षित करना।
- उदाहरण: स्कूल सुरक्षा कार्यक्रम।
- राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (NDRF) का संचालन (Oversight of NDRF):
- आपात स्थितियों में त्वरित प्रतिक्रिया के लिए।
- वित्तीय सहायता (Financial Assistance):
- प्रभावित क्षेत्रों को राहत और पुनर्वास के लिए निधि प्रदान करना।
संरचना (Structure)
- अध्यक्ष (Chairperson):
- प्रधानमंत्री।
- सदस्य (Members):
- विशेषज्ञ, वैज्ञानिक, और वरिष्ठ अधिकारी।
- अधिकतम 9 सदस्य, जिनमें एक उपाध्यक्ष (Vice-Chairperson) शामिल होता है।
- सचिवालय (Secretariat):
- संचालन और प्रशासनिक सहायता प्रदान करता है।
- विशेष समितियाँ (Special Committees):
- विशिष्ट आपदाओं के लिए योजनाएँ बनाने के लिए गठित।
महत्त्वपूर्ण पहल (Key Initiatives)
- आपदा प्रबंधन योजना (Disaster Management Plan):
- 2016 में पहली बार राष्ट्रीय स्तर पर योजना लागू की गई।
- मॉक ड्रिल्स (Mock Drills):
- वास्तविक समय की प्रतिक्रिया क्षमता बढ़ाने के लिए।
- “आपदा मित्र” योजना:
- आपदा संभावित क्षेत्रों में नागरिकों को प्रशिक्षित करना।
- “आपदा वाणी” मोबाइल ऐप:
- आपदा के दौरान चेतावनी और जानकारी प्रदान करना।
- राष्ट्रीय स्कूल सुरक्षा कार्यक्रम:
- स्कूल भवनों को सुरक्षित बनाने और छात्रों को प्रशिक्षित करने के लिए।
महत्त्वपूर्ण तथ्य (Key Facts)
- NDMA ने 2022 में राष्ट्रीय बाढ़ प्रबंधन योजना तैयार की।
- भारत में जोन V में उच्चतम भूकंप जोखिम वाले क्षेत्र हैं।
- 11 NDRF बटालियन देशभर में त्वरित प्रतिक्रिया के लिए कार्यरत हैं।
उपलब्धियाँ (Achievements)
- COVID-19 प्रबंधन:
- 2020-21 में NDMA ने राज्यों के साथ मिलकर राष्ट्रीय टीकाकरण अभियान को सफलतापूर्वक लागू किया।
- आपदा जोखिम कम करने के प्रयास:
- भारत ने सेंडाई फ्रेमवर्क (2015-2030) को लागू करने में महत्वपूर्ण प्रगति की।
- मौसम चेतावनी प्रणाली:
- चक्रवात और बाढ़ के लिए उन्नत चेतावनी प्रणाली विकसित की।
चुनौतियाँ (Challenges)
- कार्यान्वयन में कठिनाई (Implementation Challenges):
- जमीनी स्तर पर नीतियों का प्रभावी क्रियान्वयन नहीं।
- वित्तीय सीमाएँ (Financial Constraints):
- आपदा राहत और पुनर्वास के लिए पर्याप्त धन का अभाव।
- जागरूकता की कमी (Lack of Awareness):
- ग्रामीण और दूरदराज के क्षेत्रों में जागरूकता अभियान की आवश्यकता।
NDMA आपदा प्रबंधन के लिए भारत में एक मजबूत ढाँचा प्रदान करता है। यह न केवल आपदाओं के प्रभाव को कम करने में मदद करता है, बल्कि समुदायों को आपदाओं के प्रति लचीला और सतर्क बनाता है। हालांकि, इसके प्रभावी कार्यान्वयन के लिए सामुदायिक सहभागिता, वित्तीय संसाधन, और तकनीकी उन्नति की आवश्यकता है।