शीतलन का न्यूटन नियम (Newton’s Law of Cooling)
1. शीतलन का न्यूटन नियम क्या है? (What is Newton’s Law of Cooling?)
शीतलन का न्यूटन नियम (Newton’s Law of Cooling) यह कहता है कि किसी वस्तु की शीतलन दर उस वस्तु के तापमान और उसके परिवेश के तापमान के बीच के अंतर के समानुपाती होती है। अर्थात्, जितना अधिक तापमान का अंतर होगा, शीतलन की दर उतनी ही अधिक होगी।
2. शीतलन का न्यूटन नियम का सूत्र (Formula of Newton’s Law of Cooling)
न्यूटन के शीतलन नियम का गणितीय सूत्र इस प्रकार है:
dT/dt = -k(T – Ts)
जहाँ:
- dT/dt = शीतलन की दर (Rate of Cooling)
- T = वस्तु का तापमान (Temperature of the Object)
- Ts = परिवेश का तापमान (Ambient Temperature)
- k = एक स्थिरांक (Constant) जो शीतलन की दर को दर्शाता है
3. शीतलन का न्यूटन नियम के अनुप्रयोग (Applications of Newton’s Law of Cooling)
- खाद्य पदार्थों का शीतलन: भोजन को ठंडा होने में लगने वाले समय का अनुमान लगाने के लिए इस नियम का उपयोग किया जाता है।
- औद्योगिक प्रक्रियाओं में: विभिन्न पदार्थों को ठंडा करने में आवश्यक समय की गणना में सहायक होता है।
- फार्मास्यूटिकल उद्योग: दवाओं और रसायनों के ठंडा होने में लगने वाले समय का अनुमान लगाने में सहायक होता है।
4. उदाहरण (Example)
मान लें कि एक गरम पदार्थ का तापमान 80°C है और परिवेश का तापमान 30°C है। यदि शीतलन की दर स्थिरांक k = 0.05 हो, तो प्रारंभिक तापमान 80°C से 1 मिनट में परिवेश के तापमान 30°C की ओर कितना तापमान घटेगा?
dT/dt = -k(T – Ts)
यहाँ:
- T = 80°C
- Ts = 30°C
- k = 0.05
दिए गए प्रारंभिक तापमान पर शीतलन की दर:
dT/dt = -0.05 × (80 – 30) = -2.5°C प्रति मिनट
अतः, प्रारंभिक तापमान से 1 मिनट में 2.5°C की कमी होगी, जिससे नए तापमान का मान होगा: 80°C – 2.5°C = 77.5°C।